अब पुलिस केस की जानकारी के लिए नहीं जाना पड़ेगा थाने! गुजरात सरकार ने शुरू किया I-PRAGATI सिस्टम

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अब पुलिस केस की जानकारी के लिए नहीं जाना पड़ेगा थाने! गुजरात सरकार ने शुरू किया I-PRAGATI सिस्टम

गुजरात सरकार ने राज्य के नागरिकों के लिए पुलिस केस से जुड़ी जानकारी को और आसान और पारदर्शी बनाने की दिशा में एक बड़ा कदम उठाया है। मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल ने “I-PRAGATI” नामक नई तकनीकी प्रणाली का शुभारंभ किया है, जिसका पूरा नाम है — Intelligent Progress Reporting and Grievance Addressing through Technology Initiative


🔹 I-PRAGATI क्या है?

I-PRAGATI एक डिजिटल प्लेटफ़ॉर्म है जिसके माध्यम से नागरिक अपने पुलिस मामलों की प्रगति और स्थिति की जानकारी घर बैठे प्राप्त कर सकेंगे। यह सिस्टम FIR से लेकर जांच की स्थिति तक की हर अपडेट सीधे मोबाइल पर SMS के माध्यम से भेजेगा।

🔹 अब FIR की जानकारी मिलेगी मोबाइल पर

इस प्रणाली के लागू होने के बाद, नागरिकों को अपने दर्ज किए गए केस की जानकारी पाने के लिए थाने के चक्कर नहीं लगाने पड़ेंगे।

  • FIR दर्ज होते ही सूचना SMS के माध्यम से मिलेगी।
  • केस की जांच में हर अपडेट भी मोबाइल पर प्राप्त होगा।
  • शिकायतों और ग्रेविएंसेस (शिकायतों के निवारण) की ट्रैकिंग अब रीयल-टाइम में संभव होगी।

🔹 प्रणाली के फायदे

  1. पारदर्शिता में वृद्धि: पुलिस प्रक्रिया में पारदर्शिता बढ़ेगी, जिससे नागरिकों का भरोसा और मजबूत होगा।
  2. समय की बचत: लोगों को पुलिस थानों के बार-बार चक्कर नहीं लगाने पड़ेंगे।
  3. तकनीकी सशक्तिकरण: डिजिटल गवर्नेंस की दिशा में यह कदम गुजरात पुलिस को आधुनिक बनाएगा।
  4. सुविधा और सुरक्षा: नागरिकों को अपने केस की स्थिति सुरक्षित और सीधे उनके फोन पर मिलेगी।

राज्य पुलिस के वरीष्ठ अधिकारी विकास सहाय ने बताया कि “I-PRAGATI सिस्टम पुलिस प्रक्रियाओं को पारदर्शी बनाने के साथ-साथ नागरिकों को सुविधा और विश्वास दोनों प्रदान करेगा।”

मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल ने कहा कि गुजरात सरकार लगातार प्रशासनिक सेवाओं में तकनीकी सुधार ला रही है। I-PRAGATI उसी दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है, जिससे आम जनता को पुलिस सेवाओं का लाभ और भी आसानी से मिलेगा।

I-PRAGATI सिस्टम गुजरात पुलिस और जनता के बीच एक डिजिटल सेतु के रूप में कार्य करेगा। अब कोई भी नागरिक अपने केस की जानकारी या शिकायत की स्थिति जानने के लिए घर बैठे ही अपडेट प्राप्त कर सकेगा। यह पहल न केवल तकनीकी दृष्टि से उन्नत है, बल्कि “पारदर्शी और जवाबदेह पुलिस व्यवस्था” की दिशा में भी एक महत्वपूर्ण कदम है

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